उदयपुर अलर्ट: बारिश से पहले प्रशासन का बड़ा कदम, शुरू हुआ भवन और सड़क सुरक्षा सर्वे
बारिश से पहले उदयपुर जिला प्रशासन अलर्ट मोड में है। सरकारी भवनों, स्कूलों, पुलियाओं और सड़कों की सेहत जांचने के लिए सुरक्षा सर्वे शुरू किया गया है। तीन दिवसीय अभियान के तहत जर्जर भवनों को सील किया जा रहा है।
राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के निर्देशों के बाद उदयपुर जिला प्रशासन ने मानसून से पहले संभावित हादसों को रोकने के लिए बड़ी कार्यवाही शुरू की है। जिलेभर में मंगलवार से सरकारी भवनों, स्कूलों, आंगनवाड़ियों, अस्पतालों, पुलियाओं और सड़कों की सेहत जांचने के लिए विशेष सुरक्षा सर्वे प्रारंभ हो गया है।
इस विशेष अभियान के तहत जिला कलेक्टर नमित मेहता के नेतृत्व में उपखंड और पंचायत स्तर पर टीमों का गठन किया गया है। ये टीमें फील्ड में जाकर सरकारी परिसरों की संरचनात्मक स्थिति का आकलन कर रही हैं। अभियान के पहले ही दिन कई जर्जर भवनों को चिन्हित कर सील कर दिया गया और उनके उपयोग पर तत्काल रोक लगा दी गई।
सर्वे की गति तेज रखने और बारिश से पहले पूरी रिपोर्ट तैयार करने के उद्देश्य से प्रशासन ने तीन दिन के भीतर काम पूरा करने का लक्ष्य रखा है। 5 अगस्त 2025 तक सभी संबंधित विभागों को अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करनी होगी।
जिला प्रशासन की इस पहल को स्थानीय लोगों ने भी सराहा है, क्योंकि हर वर्ष मानसून में जर्जर भवनों और टूटी पुलियाओं से हादसों की आशंका बनी रहती है। यह सर्वे भविष्य में जान-माल के नुकसान को रोकने की दिशा में एक अहम कदम माना जा रहा है।